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रीठा के फायदे 

आयुर्वेद के अनुसार, आप रीठा के औषधीय गुण से अनेक फायदे (Reetha ke fayde) ले सकते हैं, जो ये हैंः-

 

बालों की समस्या में रीठा का औषधीय गुण फायदेमंद (Soapnuts Benefits for Hair Problem in Hindi)

  • बालों (Reetha for hair) में जूं (जुएं) की परेशानी हो तो कपूर कचरी 100 ग्राम, नागरमोथा 100 ग्राम और कपूर तथा रीठा फल की गिरी के साथ (soapnut), आँवला, शिकाकाई लें। इनका मिश्रण बना लें। इससे बाल धोने से बालों में चमक आती है, और बाल लंबे और घने होते हैं। रूसी की पेरशानी भी ठीक हो जाती है। 
  • जूं (जुओं) की समस्या को खत्म करने के लिए 40-40 ग्राम, शिकाकाई 25 ग्राम, आँवले 200 ग्राम लें। इन सबका चूर्ण  बना लें। 50 ग्राम चूर्ण लेकर पानी मिला लें। इस लुगदी को बालों में लगाएं। कुछ देर बाद बालों को गुनगुने पानी से खूब धो लें। इससे जूं तथा लीखें मर जाती हैं। बाल मुलायम भी होते हैं। 

 

माइग्रेन में रीठा के फायदे (Reetha Benefits in Relief from Migraine in Hindi)

  • माइग्रेन या अधकपारी में रीठा फल के रस में 1-2 काली मरिच घिस लें। इसे नाक के रास्ते 4-5 बूँद लें। इससे आधासीसी (अधकपारी) के दर्द से आराम मिलता है।
  • रीठा के जल को 1-2 बूँद नाक में डालने से भी माइग्रेन और मस्तक रोग ठीक होता है। 

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दांतों की बीमारियों में रीठा के औषधीय गुण से लाभ (Benefits of Soapnut Powder in Dental disease in Hindi)

दांतों के रोग के इलाज के लिए रीठा के बीजों  (reetha ke beej ka upyog) को तवे पर जलाकर पीस लें। इसमें बराबर मात्रा में पिसी हुई फिटकरी मिला लें। इस चूर्ण दांतों पर मलने से दांतों के सब प्रकार के रोग दूर (reetha benefits in hindi) हो जाते हैं। 

और पढ़ें: दांतों के रोगों में बरगद के फायदे

 

रीठा का प्रयोग कर खांसी का इलाज (Benefits of Kunkudukaya in Fighting with Cough in Hindi)

कफ की बीमारी में  1 ग्राम रीठा चूर्ण या रीठा पावडर तथा 2-3 ग्राम त्रिकटु चूर्ण को 50 मिली पानी में डालकर रखें। सुबह जल को साफकर अलग शीशी में भर लें। इस जल की 4-5 बूंद सुबह खाली पेट नियमित रूप से नाक में डालें। इससे अन्दर जमा हुआ कफ बाहर निकल जाता है, तथा सिर दर्द से तुरन्त लाभ मिलता है

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